हैदराबाद : अखिल भारतीय बैंक कर्मचारी संघ (एआईबीईए) ने मंगलवार को कहा कि सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया में सामूहिक स्थानान्तरण के विरोध में सोमवार से शुरू दो दिवसीय राष्ट्रव्यापी हड़ताल अखिल भारतीय बैंक कर्मचारियों और कामगार कर्मचारियों की उत्साहपूर्ण भागीदारी के साथ सफल रही।
एआईबीईए, आईएनबीईएफ, बीईएफआई, एनसीबीई और एनओबीडब्ल्यू से संबद्ध यूनाइटेड फोरम ऑफ सेंट्रल बैंक यूनियंस (यूएफसीबीयू) के आह्वान पर यह हड़ताल हुयी।एआईबीईए के महासचिव सी एच वेंकटचलम ने एक बयान में कहा कि हड़ताल में करीब 10,000 क्लर्कों और उप-कर्मचारियों ने भाग लिया। उन्होंने कहा कि इन स्थानान्तरण से अधिकारी संघ प्रभावित नहीं हैं इसलिए वे हड़ताल में शामिल नहीं हुए और शाखाएं खुली रखी गईं। कामगार कर्मचारियों ने बैंक के काम में हिस्सा नहीं लिया।
श्री वेंकटचलम ने कहा,“ यूएफसीबीयू अब बैठक का आयोजन करेगा और हमारी मांगों पर जोर देने के लिए आगे के कार्यक्रम तय करेगा। हड़ताल को सफल बनाने के लिए हम सेंट्रल बैंक के अपने सभी सदस्यों को धन्यवाद देते हैं।” उन्होंने एक बयान में कहा कि द्विपक्षीय समझौते के अनुसार बैंकों के लिपिक कर्मचारियों को एक जगह से दूसरी जगह पर तब स्थानांतरित किया जा सकता है, जब एक जगह अतिरिक्त कर्मचारी हों और दूसरी जगह कर्मचारियों की कमी हो।
इसके अलावा, कर्मचारियों को एक ही जगह की शाखा से दूसरी शाखा में स्थानांतरित किया जाता है। श्री वेंकटचलम ने कहा कि इस समझौते का उल्लंघन करते हुए सेंट्रल बैंक प्रबंधन ने अप्रैल, 2022 में 3,300 कर्मचारियों का तबादला कर दिया।