• सेफ्टी और सिक्योटरिटी बेहतर बनाने के लिए इंटीग्रेटेड सिक्योटरिटी सिस्टइम (आईएसएस) लागू करने पर मिला पुरस्कारर
• आईएसएस से कंपनी परिसर में रियल टाइम एक्सेेस की सुविधा मिलती है, जो है घुसपैठ और असुरक्षित स्थितियों को पता लगाने में मददगार
नॉर्थ दिल्ली में 7 मिलियन से अधिक की आबादी को बिजली सप्लाई करने वाली अग्रणी पावर यूटिलिटी टाटा पावर-डीडीएल को 31वें आईएसएसएम एनुअल ग्लोबल कॉन्लेव में ‘बैस्ट इलैक्ट्रॉनिक्स सिक्योरिटी कंपनी – इंटीग्रेटर’ अवार्ड से सम्माानित किया गया है। कंपनी को यह पुरस्कार उसके शानदार सिक्योंरिटी इंफ्रास्ट्रक्चर एवं सेफ्टी मैकेनिज़्म के लिए मिला है। एक वर्चुअल अवार्ड समारोह में इस पुरस्का्र की घोषणा की गई।
कंपनी ने अपने उपभोक्ताओं, कर्मचारियों के अलावा इंटरनल एवं एक्स्टरनल इंफ्रास्ट्रक्चर की सुरक्षा, और अपने नेटवर्क एरिया में एफिशिएंट पावर डिस्ट्रिब्यूशन सुनिश्चित करने के लिए लगाए गए इंटेलीजेंट नेटवर्कों को उन्नरत बनाने के इरादे से इंटीग्रेटेड सिक्योटरिटी सॉल्यूसशन सिस्टम लागू किया है। सैंट्रलाइज़्ंड कमांड एवं कंट्रोल सैंटर के ज़रिए यह व्यवस्था की गई है। इसकी मदद से कंपनी परिसर में, रियर टाइम में, असुरक्षित परिस्थितियों और ख़ासतौर से अनमैन्ड ग्रिडों तथा अन्य साइटों में घुसपैठों पर निगरानी रखने में मदद मिलती है।
आईएसएस सिस्टम एक तरह का मल्टी-लेयर्ड सिस्टम है जो अलग-अलग कंपोनेंट्स को एकसूत्र में पिरोता है। यह एक ही सिस्टिम से एक्सेस कंट्रोल सिक्योेरिटी, पेरीमीटर कंट्रोल सिक्योरिटी, वीडियो सरवीलेंस सिक्योपरिटी की सुविधा देता है। इन सिस्टम्स से सुविधा और सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए रिमोट एक्सेस मिलता है जिसके चलते कंपनी हर लोकेशन पर पेट्रोलिंग कैमरों की मदद से चौबीसों घंटे निगरानी के उपायों को लागू करती है।
सेफ्टी एवं सिक्योरिटी इंटीग्रेशन के महत्व पर ज़ोर देते हुए, श्री सिद्धार्थ सिंह, चीफ़-कार्पोरेट अफेयर्स, टाटा पावर-डीडीएल ने कहा,”टाटा पावर-डीडीएल में सेफ्टी पर सबसे ज्यादा ज़ोर दिया जाता है और हमारे द्वारा प्रदान की जाने वाली महत्वकपूर्ण सेवाओं की बुनियाद हमारे इंफ्रास्ट्रक्चर पर ही टिकी है। डिजिटल युग में रिमोट वर्किंग बढ़ने के बाद से सेफ्टी और सिक्योरिटी की ज़रूरत पहले से ज़्यादा हो चुकी है। टाटा पावर-डीडीएल ने न सिर्फ अपने ग्राहकों के लिए हमेशा से, और ख़ासतौर से महामारी के दौरान, लगातार और भरोसेमंद बिजली सप्लाई सुनिश्चित करने के उद्देश्या से कदम उठाए हैं, बल्कि ग्राहकों के साथ-साथ अपने कर्मचारियों और एसेट्स की सुरक्षा बढ़ाने के लिए भी प्रयास किए हैं। यह अवार्ड वास्तव में, स्मार्ट और सेफ नेटवर्क स्थासपित करने की हमारी प्रतिबद्धता का प्रमाण है।”
टाटा पावर-डीडीएल के बारे में:
टाटा पावर दिल्ली डिस्ट्रिब्यूशन लिमिटेड (टाटा पावर-डीडीएल) प्रमुख डिस्कॉेम है जो इंफॉरमेशन एवं ऑपरेशनल टैक्नोलॉजी सेवाओं की मदद से, नॉर्थ दिल्ली में करीब 7 मिलियन की आबादी के लिए पावर सप्लाई करती है। कंपनी ने देश की राजधानी में एटीएंडसी नुकसान में रिकॉर्ड कमी और सभी वर्टिकल्स में एडवांस्ड टैक्नोालॉजीज अपनाकर बिजली वितरण के परिदृश्य में व्यापक बदलाव लाया है। यह देश की सबसे बड़ी एकीकृत बिजली कंपनी टाटा पावर और राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली-सरकार की पब्लिक-प्राइवेट पार्टनरशिप वाली संयुक्त उपक्रम कंपनी है। निजीकरण के बाद से टाटा पावर-डीडीएल के इलाकों में एकीकृत टेक्निकल एंड कॉमर्शियल (एटीएंडसी) नुकसान में रिकॉर्ड कमी आई है। वर्तमान में एटीएंडसी नुकसान 7.3% है, जिसमें जुलाई 2002 में 53% के शुरुआती नुकसान से 86% तक की अप्रत्याशित कमी आई है।
आईआईएसएसएम के बारे में:
इंटरनेशनल इंस्टीरट्यूट ऑफ सिक्योरिटी एंड सेफ्टी मैनेजमेंट (आईआईएसएसएम), इंडियन सोसायटीज़ एक्टर के तहत रजिस्टशर्ड शैक्षिक संगठन है। यह सिक्योरिटी एवं लॉस प्रीवेंशन प्रेक्टिशनर्स के लिए पेशेवर सुरक्षा एवं सजगता को बढ़ावा देने के लिए कार्यरत है। संगठन औद्योगिक सुरक्षा, आग से बचाव, नुकसान से बचाव और अन्य संबंधित क्षेत्रों से जुड़े सभी पहलुओं पर कंसल्टैंसी सेवाएं एवं थीमेटिक कोर्स चलाती है।