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श्रेय मिले न मिले, अपना श्रेष्ठतम देना बंद न करें

भोपाल : मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि श्रेय मिले न मिले अपना श्रेष्ठम देना बंद न करें। व्यक्ति अपने निरंतर प्रयास से सब कुछ प्राप्त कर सकता है। श्री चौहान आज यहां कुशाभाऊ ठाकरे सभागार में एक मीडिया समूह के एक कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि श्रीमद भगवतगीता और स्वामी विवेकानन्द मेरे लिए प्रेरणा के मुख्य स्रोत रहे हैं। स्वामी विवेकानन्द के विचार ‘व्यक्ति ईश्वर का अंश और अमर शक्तियों का भण्डार है’ हमें उमंग और उत्साह से भरते हैं। श्रीमद भगवतगीता का निष्काम कर्म का संदेश हमें निराशा से बचाता है। इसमें सात्विक कार्यकर्ता के गुणों का उल्लेख भी है।
मुख्यमंत्री ने प्रदेश में समाज-सेवा, शिक्षा, स्वास्थ्य, रोजगार, लघु उद्योग, अधो-संरचना विकास आदि क्षेत्रों में उल्लेखनीय योगदान देने वाले प्रदेश के 41 प्रतिभागियों को सम्मानित किया। उन्होंने सम्मानित प्रतिभागियों से कहा कि आपका योगदान प्रदेशवासियों और राज्य की प्रगति एवं विकास में सहायक है। आपके द्वारा अर्जित उपलब्धियां प्रदेश के लिए गर्व और गौरव का विषय है।
श्री चौहान ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देश ने विश्व में अपनी विशेष छवि बनाई है। आज दुनिया की कोई ताकत भारत को अनदेखा नहीं कर सकती। भारत को जी-20 की अध्यक्षता करने का अद्भुत अवसर मिला है। इस सम्मेलन की कुछ बैठकें मध्यप्रदेश में भी होंगी। प्रदेश में प्रवासी भारतीय सम्मेलन औऱ ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट भी जनवरी -2023 में होने जा रहा है। प्रदेश के लिए वैश्विक स्तर पर अपनी छाप छोड़ने और भविष्य का पथ निर्धारित करने का यह महत्वपूर्ण अवसर है। राज्य सरकार इन अवसरों का श्रेष्ठतम उपयोग करने के लिए प्रतिबद्ध है।

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